हिमशिला खड़ी हिमशिला बता रही है, डरो न आंधी पानी में। डटे रहो तुम अपने पथ पर, सब कठिनाई तूफानों में। डिगो ना अपने पथ से तो, सब कुछ पा सकते हो प्यारे। तुम भी ऊंचे उठ सकते हो, छू सकते हो नभ के तारे। जितनी भी बाधाएं आई, उन सब से भी लड़ी हिमशिला। इसीलिए तो जग भर में, हुई सभी से बड़ी हिमशिला। अटल रहा जो अपने पथ पर, लाख मुसीबत आने में। मिली सफलता उसको जग में, जीने में मर जाने में। उत्तर में रखवाली करती, शक्तिशाली खड़ी हिमशिला। आकर्षक है रूप दिखाती, मनमोहक है बड़ी हिमशिला। उमा सूर्या जिला ललितपुर उत्तर प्रदेश |
हिमशिला
Featured Post
महावीर तपोभूमि उज्जैन में द्वि-दिवसीय विशिष्ट विद्वत् सम्मेलन संपन्न
उज्जैन 27 नवम्बर 2022। महावीर तपोभूमि उज्जैन में ‘उज्जैन का जैन इतिहास’ विषय पर आचार्यश्री पुष्पदंत सागर जी के प्रखर शिष्य आचार्यश्री प्रज्ञ...

Popular
-
चारित्र चक्रवर्ती आचार्य शांतिसागर जी महाराज की दीक्षा शताब्दी वर्ष पर विशेष चारित्र चक्रवर्ती आचार्य शांतिसागर जी महाराज पर तिर्यंचोंकृत...
-
स्मित रेखा औ संधि पत्र 'आंसू से भीगे आंचल पर/ मन का सब कुछ रखना होगा/ तुझको अपनी स्मित रेखा से/ यह संधि पत्र लिखना होगा ' कामायनी ...
-
* नैतिक मूल्यों का बढ़ता अवमूल्यन* *डॉ ममता जैन पुणे* ईश्वर द्वारा रची गई सृष्टि की सर्वोत्तम कृति है मानव क्योंकि मानव एक बौद्धिक व ...
-
जैन संतों की चर्या से प्रभावित होकर आज मिसेज यूनिवर्स 2019 सविता जितेंद्र कुम्भार निर्यापक श्रमण मुनि श्री वीर सागर महाराज जी ससंघके चरणों म...
-
जैन अल्पसंख्यकों का हिंदी साहित्य में योगदान डॉ संध्या सिलावट भारत एक हिन्दू बहुल राष्ट्र है। इसमें राष्ट्रीय अल्पसंख्यक आयोग अधिनियम 199...
No comments:
Post a Comment