"धनवंतरी , धन तेरस आयुर्वेद ," "प्राचीन स्वास्थ्य दोहावली "
"पानी में गुड डालिए , बीत जाए जब रात , सुबह छान कर पिजिए , अच्छे हो हालात 🌿
धनिया की पत्ती मसल , बूंद नैन में डाल , दुखती अखियां ठीक हो, पल लागे 2- 4 🌿
ऊर्जा मिली है बहुत , पि ए गुनगुना नीर , कब्ज खत्म हो पेट की, मिट जाए हर पीर🌿
पानी पिए घुंट -घुंट कर आप , बस दो-तीन गिलास है, हर औषधि का बाप 🌿
भोजन करें धरती पर, अलथी- पलथी मार , चबा -चबा कर खाइए वैध न झांके द्वार 🌿
प्रात:काल फल रस लो , दोपहर लस्सी छाछ , सदा रात में दूध पी, करें सभी रोग का नाश 🌿
भोजन करके रात में, घूमे कदम हजार , डॉक्टर ,औझा , वैध का, लूट जाए व्यापार 🌿
सुबह खाइए कुंवर सा , दोपहर यथा नरेश , भोजन लिजै रात में , जैसे रंक महेश 🌿
देर रात तक जागना, रोगों का जंजाल, अपच, आंख के रोग संग , तन भी रहे निढाल 🌿
70 रोगों को करें , चूना हमसे दूर , दूर करें यह बांझ पन, सुस्ती, अपच हुजूर 🌿
अलसी , तिल,, नारियल , घी, सरसों का तेल , यही खाइए नहीं तो ,हार्ट को समझिए फेल🌿
पहला स्थान सेंधा नमक , पहाड़ी नमक सुजान, श्वेत नमक है सागरी , यह है जहर समान 🌿
एलुमिनियम के पात्र का , करता है जो उपयोग, आमंत्रित करता वह सदा , 48 रोग ,🌿
फल या मीठा खाई के , तुरंत न पीजे नीर, यह सब छोटी आंत में ,बनते विषधर तीर 🌿
चौकर खाने से सदा ,बढ़ती तन की शक्ति, गेंहू मोटा पीसीए , दिल में बढे विरक्ति🌿
रोज मुलहठी चूसिये, कफ बाहर आ जाए, बने सुरीला कंठ भी , सबको लगत सुहाय 🌿
भोजन करके खाइए,,सौंफ, गुड, अजवायन, पत्थर भी पच जाएगा, जाने सकल जहान 🌿
लौकी का सत पिजिए, चौकर युक्त पिसान, तुलसी, गुड़ , सेंधा नमक , ह्रदय रोग निदान 🌿
चैत्र माह में नीम की , पत्ती हर दिन खावे, ज्वर, डेंगू या मलेरिया, बारह कोस भगा वे 🌿
हृदय रोग से आपको , बचना है श्रीमान,, सूरा, चाय, कोल्ड ड्रिंक का ,,मत करें पान 🌿
अगर नहावे गर्म जल , तन -मन हो कमजोर , नयन ज्योति कमजोर हो , शक्ति घटे चकोर
तुलसी का पत्ता करें, यदि हम हरदम उपयोग , हल्दी से मिट जाते , हर उम्र में , तन के सारे रोग ,"🌿
"खुश रहें - स्वस्थ रहें - मस्त रहें" धन्यवाद श्रीमती राजकुमारी वी . अग्रवाल शुजालपुर मंडी (मध्य प्रदेश)
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